देश की राजधानी दिल्ली में इन दिनों बसत की बहती ब्यार के संग सत्ता के सिंहासन पर कौन बैठेगा। दिल्ली का नया मुख्यमंत्री कौन होगा। इसे लेकर चर्चा चिन्तन और चिंताए नजर आने लगी है। जैसा कि आप को मालुम है कि दिल्ली में विधानसभा चुनाव सम्पन्न होन और चुनाव के परिणाम आने के 9 दिन बाद भी अब दिल्ली की जनता को अपने नए मुख्यमंत्री का स्वागत करने का मौका नहीं मिला है।
- 19 फरवरी को बीजेपी विधायक दल की बैठक
- दिल्ली में बीजेपी विधायक दल की बैठक
- 20 फरवरी को मिलेगा नया सीएम
- 20 फरवरी को हो सकता है शपथ ग्रहण समारोह
- 8 फरवरी को आया था रिजल्ट
- 5 फरवरी को हुआ था मतदान
- अब भी सीएम पर बना सस्पेंस
माना जा रहा है कि दिल्ली का अगला सीएम कौन होगा? यह सस्पेंस अभी फिलहाल कुछ दिन और बना रह सकता है। सीएम के चयन के लिए बीजेपी की ओर से सोमवार को बुलाई गई विधायक दल की बैठक फिलहाल स्थगित कर दी गई है। अब यह बैठक 19 या 20 फरवरी को होगी। ऐसे में दिल्ली का अगला सीएम कौन होगा, इसके लिए अगले कुछ दिन तक और इंतजार करना पड़ सकता है। हालांकि इससे पहले रविवार को खबर आई थी कि बीजेपी की ओर से सोमवार 17 फरवरी को विधायक दल की बैठक बुलाई है, लेकिन अब बैठक 19 फरवरी को होगी।
विधानसभा की 48 सीट पर विजयश्री का सेहरा पहनने के बाद भाजपा का शीर्ष नेतृत्व दिल्ली की जनता को उनका नय मुख्यमंत्री देने में लाचार दिख रही है। 8 फरवरी को दिल्ली के विधानसभा चुनाव नतीजे आए थ। हालांकि मुख्यमंत्री के नाम का ऐलान कभी भी हो सकता है, लेकिन अब तक नए सीएम के नाम की घोषणा में देरी की वजह प्रधानमंत्री मोदी का देश से बाहर होना था।ये बातें हम सब जानते हैं सीएम पद के दावेदारों के रूप में कई नाम पर कयास लगाये जा रहे हैं। रोहिणी से विधायक विजेंद गुप्ता दिल्ली का नाम भी सुर्खियों में है। वे नए सीएम हो सकते हैं। श्रीराम कॉलेज ऑफ कॉमर्स के स्टूडेंट रहे विजेंद्र गुप्ता धीर और गंभीर इंसान हैं। दिल्ली के मसलों को खूब जानते हैं। तीन बार नगर निगम पार्षद और चौथी बार विधायक बने हैं।
वहीं जनकपुरी से विधायक आशीष सूद के नाम की भी चर्चा है। वहीं कुछ लोगों के अनुसार प्रवेश वर्मा के भी सीएम बनाए जाने या उन्हें कैबिनेट में शामिल किए जाने की चर्चा है। दिल्ली की कैबिनेट में राजौरी के विधायक मनजिंदर सिंह सिरसा को भी शामिल किया जा सकता है। तो वहीं जगपुरा से विधायक मारवाह या गांधीनगर वाले लवली के कैबिनेट में जगह बनाने की उम्मीद कम है। दरअसल इसके पीछे उनका मूलतः कांग्रेसी होना है। विधायक शिखा राय को भी कैबिनेट में जगह मिल सकती है। वे भी पंजाबी हैं। कैलाश गहलोत को दिल्ली की नई कैबिनेट में कोई खास विभाग मिलना तय माना ज रहा है। कैलाश गहलोत केजरीवाल सरकार में ट्रांसपोर्ट मंत्री थे।
(प्रकाश कुमार पांडेय)