राजस्थान में कांग्रेस विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुट गई है। सितंबर में कांग्रेस टिकट घोषित करने की तैयारी में है। राजस्थान प्रदेश चुनाव समिति के बाद अब स्क्रीनिंग कमेटी ने काम शुरू कर दिया है। कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी के अध्यक्ष और सदस्य आने वाले चार दिन तक लगातार बैठकें की जा रही हैं। उम्मीदवार चयन पर फीडबैक लेंगे। इसकी शुरुआत सोमवार 28 अगस्त से से हो गई है। कांग्रेस वॉर रूम में हुई कांग्रेस की स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक और इसके बाद 1 2 1 फीडबैक में वरिष्ठ नेताओं ने उम्मीदवार चयन के मापदंडों पर खुलकर सुझाव दिए गये। इस दौरान नेताओं की ओर से एक बड़ा सुझाव आया से पिछली बार बड़े अंतर से हारने वाली सीटों पर इस बार उम्मीदवार बदले जाने चाहिए। यानी बड़े अंतर से हारने वाले प्रत्याशियों को इस बार मौका नहीं देना चाहिए।
- राजस्थान में विधानसभा चुनाव की तैयारी में कांग्रेस
- स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में मिले कई सुझाव
- बड़े अंतर से हारने वालों को टिकट न देने का सुझाव
- स्क्रीनिंग कमेटी ने शुरू कर दिया है काम
- वॉर रूम में हुई कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक
- जयपुर पहुंचे स्क्रीनिंग कमेटी अध्यक्ष गोरव गोगोई
कांग्रेस उतार सकती है मैदान में पूर्व सांसदों को
कांग्रेस नेताओं ने पूर्व सांसदों को भी विधानसभा चुनाव लड़ाने का सुझाव दिया गया है। बैठक में कई नेताओं ने कहा बीजेपी पूर्व सांसदों को चुनाव लड़ाने पर विचार कर रही है। कांग्रेस में भी कई पूर्व सांसदों का जनता के बीच अच्छा खासा जनाधार है। ऐसे पूर्व सांसदों को इस बार विधानसभा चुनाव में टिकट दिया जाना चाहिए। इसका लाभ चुनाव में कांग्रेस को ही होगा। बता दें सोमवार 28 अगस्त को राजस्थान प्रदेश चुनाव समिति के नेताओं के साथ यह बैठक जयपुर में बनाए गए अस्पताल रोड स्थित कांग्रेस वॉर रूम में हुई। जिसमें कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के साथ वरिष्ठ नेता मौजूद रहे। जिन्होंने अब तक हुई एक्सरसाइज के बारे में स्क्रीनिंग कमेटी को जानकारी दी।
ईआरसीपी को मुद्दा बनाया जाए
गहलोत सरकार में मंत्री महेश जोशी और मुरारीलाल मीणा भी बैठक में मौजूद रहे। जिन्होंने ईस्टर्न कैनल प्रोजेक्ट को राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा नहीं देने के मामले को चुनावी मुद्दा बनाने का सुझाव दिया।
बता दें पूर्वी राजस्थान में विधानसभा की 82 सीटें आती हैं। ऐसे में कांग्रेस ईआरसीपी का मुद्दा अगर तरीके से उठाया तो 82 सीटों पर यह गेम पलट सकता है। नेताओं का कहना था कि पूर्वी राजस्थान में अभी से ही कार्यकर्ताओं और स्थानीय नेताओं को इसे लेकर टास्क दे दिया जाए।
दो दिन और फीडबैक लेगी स्क्रीनिंग कमेटी
राजस्थान में फिर सरकार बनाने की तैयारी में स्क्रीनिंग कमेटी अध्यक्ष गोरव गोगोई, मेंबर गणेश गोडियाल और अभिषेक दत्त 31 अगस्त तक हर दिन संभाग वार नेताओं के साथ बैठकें करेंगे। एक दिन पहले कमेटी की सोमवार को हुई बैठक में प्रदेश चुनाव समिति के नेताओं के साथ कांग्रेस वॉर रूम में लंबी चर्चा की गई। बता दें स्क्रीनिंग कमेटी अध्यक्ष गौरव गोगोई का यह पहला राजस्थान दौरा है। कांग्रेस वॉर रूम में स्क्रीनिंग कमेटी को प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के साथ वरिष्ठ नेताओं ने टिकट के पैनल से लेकर अब तक की गई एक्सरसाइज को लेकर जानकारी दी। इतना हीह नहीं ब्लॉक और जिला स्तर से आए दावेदारों के पैनल पर मंथन किया गया।
दिल्ली में चलेगा बैठकों का दौर
राजस्थान में कांग्रेस पहले चरण में सितंबर में प्रत्याशियों की सूची की घोषणा की तैयारी है। इसलिए इस बार प्रोसेस जल्दी पूरा करने को कहा है। स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक खत्म होन के बाद कांग्रेस टिकटों की पूरी एक्सरसाइज जयपुर से दिल्ली शिफ्ट हो जाएगी। यानी जयपुर के बाद दिल्ली में बैठकों का दौर चलेगा। इसके बाद टिकट तय किये जाएंगे। चर्चा है कि कांग्रेस पहले चरण में करीब 50 से 60 टिकट घोषित कर सकती है।