अब तक देश में 14 नेता प्रधानमंत्री बने हैं। जिनमें से गांधी परिवार के 3 सदस्य हैं। इसके अलावा बाकी अन्य परिवारों से हैं। इन सभी पूर्व प्रधानमंत्रियों और उप प्रधानमंत्रियों में से गांधी परिवार को छोड़कर लगभग सभी के परिवार का कोई न कोई सदस्य बीजेपी और उसकी सहयोगी पार्टियों में शामिल हैं। पूर्व उप प्रधानमंत्री देवीलाल के बेटे रणजीत सिंह चौटाला का नाम इस सूची में सबसे नया ह। वे हाल ही में बीजेपी में शामिल हुए हैं। जिसके बाद पार्टी ने उन्हें हरियाणा की हिसार लोकसभा सीट से टिकट दिया है। उनके अलावा दो गैर-गांधी प्रधानमंत्रियों लाल बहादुर शास्त्री और पी वी नरसिम्हा राव के परिवार के सदस्य हैं। लाल बहादुर शास्त्री और नरसिम्हा राव के अलावा पूर्व प्रधानमंत्री चंद्र शेखर के बेटे नीरज शेखर भी पिछले 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान समाजवादी पार्टी छोड़कर बीजेपी में आ गए थे। नीरज शेखर इस समय राज्यसभा के सदस्य हैं। पूर्व प्रधानमंत्री एच डी देवेगौड़ा जेडी (एस) भी एनडीए का हिस्सा है।
- भाजपा परिवार का विस्तार
- लगभग सभी गैर-गांधी पूर्व पीएम, डिप्टी पीएम के परिजन शामिल
- नया नाम पूर्व पीएम देवीलाल के बेटे रणजीत सिंह चौटाला
- लाल बहादुर शास्त्री, चरण सिंह, नरसिम्हा राव
- एचडी देवेगौड़ा के परिवार के सदस्य हैं शामिल
- ये या तो भाजपा में हैं या एनडीए का हिस्सा हैं
- बीजेपी और एनडीए में पूर्व प्रधानमंत्रियों के रिश्तेदारों की भरमार
हैरान कर देगी ‘परिवार’ की वंशवाद की बेल
पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री का परिवार कई राजनीतिक दलों के बीच विभाजित है। उनके बड़े बेटे हरि कृष्ण शास्त्री हमेशा ही कांग्रेस के साथ खड़े रहे। जबकि उनके दूसरे बेटों में से सुनील शास्त्री कांग्रेस और बीजेपी के बीच दल बदल चुके हैं। अनिल शास्त्री की बात करें तो 1980 के दशक में वे जनता दल में थे। फिलहाल कांग्रेस के साथ हैं। लाल बहादुर शास्त्री के पोते-पोतियों में यूपी के पूर्व मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह और उनकी बेटी सुमन सिंह के बेटे इस समय बीजेपी में हैं। वहीं हरि कृष्ण शास्त्री के बेटे विभाकर ने साल 2009 में कांग्रेस से लोकसभा चुनाव लड़ा था लेकिन पिछली फरवरी में वे बीजेपी में आ गए। सुनील शास्त्री के बेटे विनम्र इस समय आरएलडी में हैं। पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण के पोते को भी एनडीए ने साथ में ले लिया है। बता दें पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय चौधरी चरण सिंह के बेटे और राष्ट्रीय लोकदल के संस्थापक अजीत सिंह ने कभी एनडीए और कांग्रेस दोनों गठबंधनों की सरकारों के मंत्रिमंडल में रहकर अपनी भूमिका निभाई थी। वहीं अब स्वर्गीय अजित सिंह के बेटे जयंत चौधरी भी लोकसभा चुनाव से पहले एनडीए के साथ आ गये हैं। पहले जयंत इंडिया गठबंधन के साथ थे।
दादा को भारत रतन्,जयंत ने एनडीए में आकर जताया आभार
जयंत चौधरी के एनडीए में आने से पहले ही मोदी सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न दिया था। वहीं शनिवार 30 मार्च को राष्ट्रपति भवन में यह सम्मान भी प्रदान किया गया। चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न दिए जाने पर आरएलडी में खुशी का माहौल है। यूपी के बिजनौर में तो राष्ट्रीय लोक दल के कार्यकर्ताओं ने इस खुशी में लोगों के बीच गुड़ बांटा और केन्द्र सरकार का भार जताया। राष्ट्रीय लोकदल के दर्जनों कार्य करता इकट्ठा होकर शहर की सड़कों पर आने-जाने वाले राहगीरों को गुड खिलाकर खुशियां मनाएं वही राष्ट्रीय लोक दल के महामंत्री ने भाजपा सरकार का आभार व्यक्त किया उन्होंने इससे पहले सरकारों पर आड़े हाथों करत हुए कहा कि हमारे नेता को किसी सरकार ने भी भारत रत्न देने की सोचा भी नहीं बीजेपी सरकार के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने हमारे नेता को भारत रत्न देकर हमारे नेता को नहीं हिंदुस्तान के किसानों का सम्मान दिया है राष्ट्रीय लोक दल के कार्यकर्ता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार व्यक्त करते हैं। दरअसल, देश के पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय चौधरी चरण सिंह को केन्द्र सरकार ने भारत रत्न देने की घोषणा की थी। दिल्ली में आयोजित एक कार्यक्रम में चौधरी चरण सिंह के पोते राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष जयंत चौधरी को देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा भारत रत्न पुरस्कार दिया गया। चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न दिए जाने से बिजनौर राष्ट्रीय लोकदल के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारी में खुशी का माहौल है।