दुनिया का सबसे दुर्लभ ब्लड ग्रुप का व्यक्ति गुजरात में

दुनिया का सबसे दुर्लभ ब्लड ग्रुप का व्यक्ति गुजरात में

दुनिया का सबसे दुर्लभ ब्लड ग्रुप  का  व्यक्ति गुजरात में
दुनिया में सिर्फ 4 प्रकार के ब्लड  ग्रुप A ,B ,AB,O , है जिन्हे आपने  सुना और पड़ा होगा  कभी 5 ब्लड ग्रुप के बारे व न पड़ा होगा न सुना होगा  लेकिन कुछ समय पहले वैज्ञानिको ने एक दुर्लभ ब्लड ग्रुप की खोज की जिसका नाम ई एम् एम नेगटिव है  यह पूरी दुनिया में  कुछ ही लोगो में पाया जाता है  यह दुर्लभ ब्लड ग्रुप देश में  गुजरात के एक व्यक्ति में पपाया जाता है

बता दे की दुनिया में आपने अभी तक सिर्फ 4 प्रकार के  ब्लड ग्रुप में पड़ा होगा की A ,B , AB ,O और सुना होगा की सभी के पास यही 4 प्रकार क्र ब्लड ग्रुप होते है  लेकिन बता दे की देश में  एक  नया ब्लड गरूओपदेखने को मिला है जिसका नाम ईएमएम नेगटिव है  यह ब्लड ग्रुप दुनिया में बहोत कम लोगो में पाया जाता है यह पूरी दुनिया में सिर्फ 10  लोगो में पाया गया है  और बता दे की भारत में एक ऐसा व्यक्ति है  मात्र जिसमे यह ब्लड ग्रुप पाया गया है  यह वयक्ति गुजरात के राजकोट का रहने वाला है इसकी उम्र 65 साल है बीमारी के चलते जब इसने जब इलाज करवाने के लिए हॉस्पिटल ोहुचा और अपना ब्लड टेस्ट करवाया तब यह ब्लडग्रुप सामने आया जिसे जानकार सभी हैरान हो गए  खबरों के मुताबिक यह यक्ति दिल की बीमारी से पीड़ित है पूरी दुनिया में 10 ऐसे व्यक्ति  है जिसमे ये ब्लड ग्रुप पाया गया है और एक हमारे देश में है इस ब्लड ग्रुप के लोग दुनिया में 9 है और एक हमारे देश में है हर वयक्ति अलग ब्लड ग्रुप में A ,B ,AB ,O होते है और इसके एंटीजन RH निगेटिव RHपोसिटिव  ब्लड ग्रुप पाया जाता है या डफी पाया जाता है लेकिन ये ब्लड ग्रुप सबसे अलग होता है

जाने क्या है ये ब्लड ग्रुप
ईएमएम ब्लड ग्रुप पाए जाने वाला `पांचवा ब्लड ग्रुप है इस ब्लड ग्रुप में 42 निगेटिव सिस्टम होते है और इस ब्लड ग्रुप में हाई फ्रीक्वेंसी एंटीजन  की कमी होती है इस ब्लड ग्रुप का वैयक्ति न किसी को खून दे सकता न ही किसी से खून ले सकता है  बताया जा रहा है जिस वयक्ति यह ब्लड ग्रुप पाया गया उस ब्लड की बहोत जरूरत है उसके हार्ट की सर्जेरी होने के कारन उन्हें खून की बहोत  जरूरत है लेकिन खून नहीं मिल पाया इसलिए उनकी हार्ट सर्जेरी नहीं हो पायी समर्पण ब्लड डोनेशन सेंटर के फिजिशियन डॉक्टर सन्मुख जोशनी  ने ये जानकारी दी है

आखिर इस ब्लड ग्रुप का नाम ईएमएम क्यों पड़ा
EMM ब्लड ग्रुप का नाम  इसलिए EMM पड़ा क्युकी इसमें लाल रक्त कोशिकाओं में एंटीजन पाया जाता है  इंटरनेशनल सोसाइटी ऑफ ब्लड ट्रांसफ्यूजन ने इसीलिए इस ब्लड ग्रुप का नाम EMM नेगटिव रखा  ये ब्लड ग्रुप पाना इसीलिए इतना मुश्किल है बताया जा रहा है इस ब्लड ग्रुप  का प्रकार गोल्डन ब्लड प्रकार का यह ब्लड होता है यह गोल्डन ब्लड सबसे पहले  साल 1961 में देखा गया था

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