डीजल गाड़ियों जल्द ही बैन होने वाली है? सुनकर शॉक लगा , जी हां पेट्रोलियम मंत्रालय की एक कमेटी ने केंद्र सरकार को 2027 तक सारी डीजल गाड़ियों को बैन करने का सुझाव दिया है. डीजल गाड़ियों के शौकीने के लिए यह खबर किसी मातम से कम नहीं है. कमेटी ने देश के बड़े शहरों में बढ़ते प्रदूषण की समस्या से पार पाने के लिए डीजल गाड़ियों को हटाने की सलाह दी है. अब सभी के मन में सवाल उठ रहा है कि क्या उनके शहर में भी डीजल गाड़ियां बैन हो जाएगी ? आपको बता दें कि पेट्रोलियम मंत्रालय ने तो सरकार को सुझाव दें दिया है , लेकिन केंद्र सरकार ने इस पर अभी तक कुछ ऐलान नहीं किया है.
डीजल गाड़ियों को हटाने की क्यों पड़ गई जरूरत ?
डीजल गाड़ियों को हटाने पर पेट्रोलियम मंत्रालय का कहना है कि कई शहरों में आबादी बढ़ती चली जा रही है और प्रदूषण का स्तर भी कम नहीं हो रहा है. ऐसे में इन शहरों में सीएनजी और इलेक्ट्रिक वाहनों का इस्तेमाल किया जाना चाहिए. सरकार डीजल गाड़ियों को बैन कर प्रदूषण की समस्या से निपटने का प्रयास करेगी. पेट्रोलियम मंत्रालय ने अपनी रिपोर्ट में यह भी बताया है कि इन शहरों में 2030 तक डीजल गाड़ियों को बैन कर इलेक्ट्रिक बसों को चलाने का प्रयास करना चाहिए.
उठ सकते है यह सवाल
सरकार कमेटी की रिपोर्ट पर अगर ऐसा कुछ ऐलान करती है तो इस पर कई सवाल उठ सकते है. उन लोगों में भी कंफ्यूजन की स्थिति बन जाएगी जिन्होंने कुछ समय पहले ही डीजल गाड़ियां खरीदी है. गाड़ी हर व्यक्ति के दिल के करीब होती है , ऐसे में सरकार को इस फैसले से भारी विरोध झेलना पड़ सकता है. इसके अलावा लग्जरी और एसयूवी मॉडल्स की गाड़ियां जो सरकार द्वारा खुद इस्तेमाल की जाती है डीजल से चलती है . ऐसे में इन वाहनों का क्या होगा ? सरकार के ऐलान से पूरी ऑटो इंडस्ट्री हिल सकती है , इसलिए सरकार को फैसला सोच समझकर लेना पड़ेगा.
क्यों है डीजल वाहनों को हटाने पर फोकस?
सरकार देश में बढ़ते प्रदूषण को रोकने के लिए साथ ही खाड़ी देशों पर डीजल की निर्भरता कम करने के लिए हल ढूंढ रही है. इसके साथ ही सरकार ग्रीन वाहनों के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए इलेक्ट्रिक वाहनों पर सब्सिडी प्रदान कर रही है और इन्हें प्रमोट कर रही है.