वक्फ बिल को लेकर बनाई गई संयुक्त संसदीय समिति JPC की रिपोर्ट राज्यसभा में पेश कर दी गई है। इसके साथ ही राज्यसभा में जोरदार हंगामा देखने को मिला। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकाअर्जुन खरगे ने इस रिपोर्ट के फर्जी करार देते हुए कहा है कि वे और उनकी पार्टी यह फर्जी नहीं मानेंगे। खरगे ने कहा अगर मुसलमान हैं तो पैमाना अलग क्यों है।
- वक्फ पर जेपीसी की रिपोर्ट हुई पेश…संसद में ‘महाभारत’
- वक्फ संशोधिन बिल को लेकर जेपीसी ने बनाई है रिपोर्ट
- जेपीसी की ओर से राज्यसभा में पेश की गई रिपोर्ट
- रिपोर्ट पेश होने के साथ ही विपक्ष ने किया जोरदार हंगामा
वक्फ संशोधिन बिल को लेकर जेपीसी की ओर से रिपोर्ट तैयार की गई है। इस रिपोर्ट को आज यानी गुरुवार को राज्यसभा में पेश किया गया है। हालांकि विपक्ष की ओर से इस दौरान लगातार इसे लेकर हंगामा किया जाता रहा। विपक्ष ने कहा है कि रिपोर्ट में विपक्षी सदस्यों के सुझावों को मान्य नहीं किया गया है।
बता दें कि गुरुवार 13 फरवरी को संसद के चालू बजट सत्र के पहले हाफ की कार्यवाही के अंतिम दिन आज लोकसभा में बीजेपी सांसद जगदंबिका पाल के नेतृत्व वाली संयुक्त संसदीय समिति जेपीसी ने अपनी रिपोर्ट पेश कर दी है। बीजेपी सांसद मेधा विश्राम कुलकर्णी ने वक्फ पर जेपीसी की रिपोर्ट को राज्यसभा में पेश किया है। उच्च सदन ने जेपीसी की इस रिपोर्ट को स्वीकार भी कर लिया है। लेकिन विपक्षी सदस्यों ने इसे स्वीकार नहीं किया बल्कि पूरे वक्फ बिल को ही वापस लेने की मांग करते हुए जोरदार हंगामा किया। इस बिल को अल्पसंख्यकों के अधिकारों पर हमला बताया है।
विपक्ष के सदस्य सदन को गुमराह न करें-रिजिजू
हालांकि संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने सदन में कहा कि इस बिल में सारी चीजें हैं। कुछ भी मेटर डिलीट नहीं किया गया है। रिजिजू ने कहा विपक्ष के सदस्य सदन को गुमराह न करें। जेपीसी की रिपोर्ट नियमों के अनुसार ही तैयार की गई है। विपक्ष की ओर से लगाए गए सारे आरोप झूठ और निराधार हैं। संसदीय कार्य मंत्री रिजिजू ने कहा विपक्ष की ओर से गैरजरूरी मुद्दा उठा रहा है। रिजिजू ने कहा वक्फ संशोधन बिल जिस मंत्रालय से जुड़ा है, वह अल्पसंख्यक मामले मंत्रालय उनके ही पास है।
खरगे बोले जेपीसी की रिपोर्ट असंवैधानिक
विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि वक्फ बिल पर विपक्ष के अनेक सदस्यों ने डिसेंट नोट्स दिए हैं। उनको प्रॉसीडिंग से निकालना पूरी तरह से अलोकतांत्रिक प्रक्रिया है। जितने भी लोगों ने डिसेंट नोट्स दिए हैं, क्या उनमें से एक भी पढ़ा-लिखा नहीं है। आपको उस डिसेंट नोट्स को अपनी रिपोर्ट में डालकर बोलना चाहिए। उसे डिलीट कर आप रिपोर्ट पेश कर रहे हैं। खरगे ने कहा ऐसी फर्जी रिपोर्ट को विपक्ष नहीं मानता। सदन भी कभी नहीं मानेगा।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा नड्डा साहब पुराने नेताओं को ही सुनते हैं। आपका इंफ्लूएंस भी हैं। आप इसे भी जेपीसी को भेज दिजिए और संवैधानिक तरीके से एक बार फिर से सदन में लाइए, फिर हम देखेंगे। खरगे ने सभापति जगदीप धनखड़ से मुखातिब होकर कहा आप जेपीसी की इस रिपोर्ट को रिफ्यूज भी कर सकते हैं। उन्होंने कहा कई राज्यों के गवर्नर भी ऐसा करते हैं।