दिल्ली के लाल किला परिसर में इन दिनों सम्राट विक्रमादित्य महानाट्य महामंचन का आयोजन किया जा रहा है। लाल किला के माधादास पार्क में मध्यप्रदेश सरकार की ओर से आयोजित सम्राट विक्रमादित्य महानाट्य महामंचन का आगाज शनिवार की शाम को हुआ। इस दौरान उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के साथ ही एमपी के राज्यपाल मंगूभाई पटेल, सीएम डॉ.मोहन यादव के साथ दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के साथ केन्द्रीय पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत भी उपस्थित थे। सम्राट विक्रमादित्य महानाट्य महामंचन सोमवार 14 अप्रैल तक लगातार जारी रहेगा। यहां पर मध्यप्रदेश जनसम्पर्क विभाग की ओर से ‘मध्यप्रदेश का विकास और उपलब्धियां’ विषय पर प्रदर्शनी भी लगाई गई है। इसी प्रकार मध्यप्रदेश के पर्यटन एवं उद्योग विभाग की ओर से भी यहां प्रदर्शनी लगाई गई है।
- सम्राट विक्रमादित्य शासकों के लिए आज भी हैं आदर्श
- मालवा की संस्कृति से मनोहारी हुई दिल्ली की शाम
- लाल किला परिसर में विक्रमादित्य महानाट्य महामंचन का आगाज
- 14 अप्रैल तक चलेगा विक्रमादित्य महानाट्य का महामंचन
- महामंचन मेंं एक साथ अभिनय कर रहे हैं 250 कलाकार
- 14 अप्रैल तक होगा महानाट्य का महामंचन
- आज रविवार 13 अप्रैल को केन्द्रीय मंत्री जेपी नड्डा होंगे शामिल
- महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ की ओर से लगाई गई प्रदर्शनी
- ‘विक्रमादित्यकालीन मुद्रा और मुद्रांक’ की लगाई प्रदर्शनी
- भारतीय ऋषि वैज्ञानिक परंपरा पर केंद्रित ‘आर्ष भारत’ प्रदर्शनी
- 100 से अधिक ऋषियों के जीवन और योगदान को किया प्रदर्शित
- मध्यप्रदेश जनसम्पर्क विभाग की ओर से लगाई प्रदर्शन
- ‘मध्यप्रदेश का विकास और उपलब्धियां’ विषय पर प्रदर्शनी
सम्राट विक्रमादित्य महानाट्य महामंचन का आगाज करते हुए उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कहा है कि महाराजा विक्रमादित्य ने अपने शासन काल में कला संस्कृति और साहित्य के साथ ही विज्ञान के विकास को संरक्षण और संवर्धन के साथ जो मूल्य स्थापित किए वह आज भी भारत की सांस्कृतिक आदर्श और पहचान बने हुए हैं। उपराष्ट्रपति धनखड़ ने कहा सम्राट विक्रमादित्य ने अपने शासन काल के दौरान भारत को गौरवान्वित किया। भारतीय सांस्कृतिक चेतना के विकास में सम्राट विक्रमादित्य का अहम योगदान रहा है। वे शासकों के लिए आज भी एक आदर्श शासक हैं। विक्रमादित्य बड़े प्रजा वत्सल राजा थे। उन्होंने ही दूसरे शासकों को सिखाया कि एक राजा को किस प्रकार से अपनी प्रजा की सेवा करनी चाहिए। उपराष्ट्रपति धनखड़ ने कहा अपने शासनकाल में कला संस्कृति और साहित्य के साथ विज्ञान का संरक्षण उसका संवर्धन किया जिससे भारत को समृद्ध किया।
उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने मध्यप्रदेश सरकार की ओर से दिल्ली में किए जा रहे इस महाआयोजन के लिए राज्य के मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव को बधाई देने के साथ ही साधुवाद देते हुए कहा केंद्र और दिल्ली सरकार के साथ मिलकर यह सिलसिला आगे भी इसी तरह जारी रहना चाहिए। उपराष्ट्रपति ने कहा हमें हमारी संस्कृति के संवर्धन के लिए हमेशा प्रयत्न करते रहना चाहिए। उन्हें खुशी है कि मध्यप्रदेश की मोहन सरकार यह कार्य बड़ी ही लगन और कुशलता के साथ कर रही है।
सम्राट वीर विक्रमादित्य थे धीरता, वीरता, संवेदनशीलता के प्रतीक – मुख्यमंत्री
वहीं मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव ने मंच से कहा कि सम्राट वीर विक्रमादित्य के शासनकाल को भारतीय इतिहास का गौरवशाली काल था। भारती की संस्कृति को सहेजने और संवारने में विक्रमादित्य का अमिट योगदान है। विक्रमादित्य ने न सिर्फ शासन को सुशासन की व्यवस्था में परिवर्तन किया बल्कि वे अदम्य साहस, धीरता, वीरता और संवेदनशीलता के भी प्रतीक थे। विक्रमादित्य ऐसे राजा था जिन्होंने अपनी प्रजा को कर्जमुक्त किया। गरीब, लाचार और वंचितों को उनका हक दिलाने की प्रेरणा हमें महान सम्राट वीर विक्रमादित्य से ही मिलती है। मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव ने कहा सम्राट विक्रमादित्य हमारे लिए सदैव ही स्तुत्य रहेंगे। उन्होंने हमें जनसेवा की सीख दी है। वीर विक्रमादित्य अक्सर अपनी प्रजा का सुख-दुख जानने के लिए भेष बदलकर प्रजा के बीच जाया करते थे। उनकी यही संवेदनशीलता बताती है कि शासक का सुख प्रजा के सुख में ही है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने यह भी कहा कि भारतीय संस्कृति सदैव समृद्ध रही है। आगे भी समृद्ध रहेगी। भारत की संस्कृति मां गंगा की अविरल धारा की तरह ही सदैव अक्षुण्ण बनी रहेगी। हमें अपने अतीत पर गर्व है और यह भावना हमें आने वाली पीढ़ी तक भी पहुंचानी है। सीएम ने कहा देश की राजधानी दिल्ली में विक्रमादित्य महानाट्य के महामंचन कराने का उ्देश्य में यही है।
MP सरकार सांस्कृतिक चेतना को कर रही सशक्त’ केन्द्रीय मंत्री शेखावत
वहीं इससे पहले केन्द्रीय पर्यटन और संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि मध्यप्रदेश सरकार की ओर से दिल्ली में सम्राट विक्रमादित्य महानाट्य का इस तरह आयोजन कराना सराहनीय है। मध्यप्रदेश सरकार देश के इतिहास को जीवंत करने के साथ-साथ भारत की सांस्कृतिक चेतना को भी सशक्त कर रही है। केन्द्रीय मंत्री ने कहा महान सम्राट वीर विक्रमादित्य का शासनकाल भारत की सांस्कृतिक ऊंचाइयों का उत्कर्षकाल था। उनके शासन के दौरान प्रजा सुखी थी। उनके शासन पर आधारित महानाट्य का इस तरह मंचन किया जाना सम्राट विक्रमादित्य के उस स्वर्णिम युग का मंचन ही है।
दिल्ली और मेरे लिए परम सौभाग्य की बात- CM रेखा गुप्ता
दिल्ली की CM रेखा गुप्ता ने भी एमपी के MP के CM डॉ.मोहन यादव के प्रति आभार जताया और कहा कि CM डॉ.मोहन यादव ने दिल्ली की जनता को महान सम्राट विक्रमादित्य के चरित्र और शौर्य से साक्षात्कार करने का एक अवसर दिया है। CM रेखा गुप्ता ने कहा यह उनका और दिल्ली का परम सौभाग्य है कि सम्राट विक्रमादित्य को और अधिक समझने का मौका मिला। यह किसी सौभाग्य से कम नहीं है कि शौर्य और पराक्रम के प्रतीक सम्राट विक्रमादित्य पर आधारित महानाट्य का महामंचन दिल्ली के लाल किला परिसर में हो रहा है। दिल्ली की जनता आज इतिहास से रुबरू हो रही है। वे भी सम्राट विक्रमादित्य के शौर्य के साथ पराक्रम और वीरता, कुशलता, सुशासन को अपनी आंखों से देख रही हैं। इसके लिए मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ.मोहन यादव का बहुत-बहुत धन्यवाद।…प्रकाश कुमार पांडेय