यूपी में 37 सीट जीतने वाली सपा ने की बुलडोजर मॉडल को लेकर ये डिमांड… क्या योगी सरकार दिखाएगी माफिया और गैंगस्टर पर नरमी…क्या लग जाएगा बुलडोजर पर ब्रेक..

उत्तरप्रदेश में लोकसभा की 37 सीटों के साथ समाजवादी पार्टी सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभर कर सामने आई है। सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव ने चुनाव में सबसे ज्यादा सीट जीती हैं। इसलिए समाजवादी पार्टी अब उत्तर प्रदेश में बुलडोजर मॉडल पर रोक लगाने की डिमांड कर रही है। अखिलेश की पार्टी का दावा है कि जो वोट उत्तरप्रदेश में मिले हैं वह बुलडोजर मॉडल के खिलाफ डाले गए हैं। इसलिए सवाल उठ रहे हैं यूपी में बुलडोजर मॉडल का क्या होगा।

यूपी में 37 सीट जीतने वाली सपा ने की डिमांड

उत्तरप्रदेश की 80 लोकसभा सीटों का समीकरण

जिस बुलडोजर से उत्तर प्रदेश के माफिया अपराधी तक डरते थे। उस बुलडोजर मॉडल का अब उत्तर प्रदेश में क्या होगा। यह सवाल इसलिए भी पूछा जा रहा है क्योंकि समाजवादी पार्टी ने सवाल उठाया है। लोकसभा चुनाव के नतीजे के बाद इस पर रोक लगाने की डिमांड हो रही है। समाजवादी पार्टी के नेताओं का कहना है कि बुलडोजर क्या है। बुलडोजर असल में विध्वंस करने की नीति है। ​लेकिन चुनाव में बुलडोजर के खिलाफ और बुलडोजर वाली मानसिकता के खिलाफ जनादेश मिला है।

वहीं भाजपा के नेताओं का कहना है कि उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था, उत्तर प्रदेश के निवासियों के लिए चिंताजनक विषय रहती थी। लेकिन उत्तर प्रदेश में जब से योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में सरकार बनी है। तब से राज्य में कानून व्यवस्था अपनी पटरी पर है। यूपी की योगी सरकार ने कानून व्यवस्था को संभालने का काम किया है। लोकसभा के चुनाव के परिणामों से उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था को जोड़कर देखना गलत है।

लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजे में उत्तर प्रदेश भाजपा की सीट में कमी हुई है। इसे यूपी में बुलडोजर एक्शन से जोड़कर इसे देखा जा रहा है। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पिछले महीने बुलडोजर पर बयान दे चुके हैं। अखिलेश का कहना है यह बीजेपी वाले जो है। कभी-कभी बुलडोजर से से लोगों को डराते हैं। बुलडोजर में दिमाग होता है क्या। अगर बुलडोजर में दिमाग नहीं होता है और कभी स्टेरिंग पर आदमी बदल गया तब क्या होगा।

दरअसल अखिलेश यादव का यह बयान उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ बुलडोजर मॉडल के विरोध में था। अब 37 सीट जीतने के बाद अखिलेश यादव की पार्टी बुलडोजर मॉडल को उत्तर प्रदेश से हटाने की मांग कर रही है। माना जा रहा है कि यूपी में सरकार के कामकाज करने के तरीके बदल सकते हैं। यानी अपराधियों के खिलाफ अब यूपी में एक्शन बुलडोजर मॉडल और माफिया खत्म करने वाला मॉडल दोनों में बदलाव संभव है। बुलडोजर और एनकाउंटर की वजह से यूपी में कानून व्यवस्था की स्थिति सुधरी है। ऐसा विशेषज्ञ भी मानते हैं लेकिन चुनाव में खराब स्थिति के चलते और दो साल के बाद आने वाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए उत्तर प्रदेश सरकार काम करने के तरीकों में बदलाव आ सकता है।

विपक्षी पार्टियां बुलडोजर को लेकर यूपी की योगी आदित्यनाथ सरकार पर निशाना साध रहीं है। अब सवाल भी खड़े कर रही हैं। जिसकी एक बड़ी वजह यह भी है कि 2017 2024 तक उत्तर प्रदेश में माफिया गैंगस्टर और अपराधियों की 12000 करोड़ रुपए की संपत्ति जब्त की गई या उसे बुलडोजर से जमीदोज कर दिया गया है।

2017 में योगी सरकार के बनते ही शुरू हो गया था माफिया संपत्ति पर बुलडोजर चलना

2017 के दौरान यूपी में योगी सरकार के बनते ही माफिया संपत्ति पर बुलडोजर चलना शुरू हो गया था। अब तक 24 से ज्यादा माफियाओं के घर पर बुलडोजर चल चुका है। योगी सरकार के मुताबिक 2021 तक 67000 एकड़ जमीन बुलडोजर की मदद से अधिकांश मुक्त किया जा चुका है। अब तक यूपी के 14000 गैंगस्टर पर एक्शन लिया जा चुका है। उनकी 21000 करोड़ की संपत्ति राजसात या तबाह कर दी गई। यूपी में बुलडोजर का डर बड़े-बड़े माफिया और अपराधियों पर भी भारी है। योगी समर्थकों को बाबा का बुलडोजर मॉडल पसंद है लेकिन विपक्ष बुलडोजर एक्शन में बदलाव की डिमांड कर रहा है। अखिलेश यादव 37 सीटों के साथ अब यूपी में बड़ी सियासी ताकत बन गये हैं। चुनाव में उन्होंने यूपी की सबसे ज्यादा सीट जीतने में कामयाबी मिली है। इसलिए समाजवादी पार्टी भी अब उत्तरप्रदेश के बुलडोजर मॉडल पर रोक लगाने की डिमांड कर रही है। अखिलेश यादव की पार्टी का कहना है वोट मिले हैं वो बुलडोजर मॉडल के खिलाफ डाले गये हैं।

Exit mobile version