Politics of MP: मध्य प्रदेश में इसी साल नवंबर माह में विधानसभा चुनाव होना हैं। बीजेपी और कांग्रेस के साथ छोटे बड़े सभी राजनीतिक दलों ने चुनावी जमावट शुरु कर दी है। साथ ही आरोप प्रत्यारोप का दौर तेज ही नहीं तीखा भी हो गया है। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शिवराज सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि नौटंकी और अभिनय करने वाली शिवराज सिंह चौहान की फिल्म 6 महीने और चलेगी। इसके बाद मध्य प्रदेश में कांग्रेस की सरकार आने वाली है।
- नवंबर में होंगे विधानसभा चुनाव
- चुनावी जमावट में जुटी बीजेपी कांग्रेस
- आरोप प्रत्यारोप का दौर हुआ तेज
- किसानों को लेकर सरकार पर कमलनाथ का वार
- बोले कमलनाथ—नौटंकी और अभिनय करते हैं शिवराज
किसानों को लेकर कमलनाथ और कमल पटेल में तकरार
वहीं कमलनाथ के आरोप को लेकर मप्र के कृषि मंत्री कमल पटेल ने पलटवार किया है। दरअसल देश में आम बजट को लेकर चर्चा चल रही है। इसी बीच मप्र में कांग्रेस ने हमेशा की तरह इस बार भी आमबजट को लेकर बीजेपी और उसकी सरकार पर निशाना साधा है। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सरकार की ओर से बजट के पहले पेश किए गए आर्थिक सर्वेक्षण को आंकड़ों की बाजीगरी बताया। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट करते हुए कहा है कि शिवराज सरकार किसान विरोधी है। उन्होंने कहा कि किसानों की छाती छलनी करने वाली सरकार अब घड़ियाली आंसू रो रही है। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आरोप लगाया कि शिवराज सरकार हमेशा की तरह अभिनय और नौटंकी कर रही है। उन्होंने लिखा है कि अभिनय करने वाली सरकार अब छह महीने और चलेगी। इसके बाद विधानसभा चुनाव में तख्तापलट जाएगा।
कमल पटेल का तंज,कमलनाथ क्या जाने किसान का दर्द
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने किसानों को लेकर जब सरकार पर निशाना साधा तो शिवराज कैबिनेट में कृषि मंत्री कमल पटेल ने उन पर पलटवार किया है। कृषि मंत्री कमल पटेल ने शिवराज सरकार पर लगे आरोपों पर पलटवार करते हुए कहा है कि कमलनाथ को किसानों का दर्द क्या पता है? उन्होंने अपनी सरकार को आलीशान दफ्तर से चलाया है। कभी वे किसानों के बीच गए ही नहीं है। कमल पटेल ने दावा करते हुए कहा कि शिवराज सरकार इस विधानसभा चुनाव में भी इतिहास रचेगी। अबकी बार 200 पार का नारा दिया गया है। बीजेपी की सरकार आने वाले समय में किसानों के लिए और भी बड़े कदम उठाने जा रही है। केंद्र की मोदी सरकार ने किसानों को आर्थिक रूप से सक्षम बनाने के लिए उनके खातों में सीधे राशि डालना जैसी कई पारदर्शी योजना जारी है।