महाराष्ट्र विधान परिषद चुनाव: महायुति के लिए उम्मीदवार का चयन क्यों है कठिन कार्य?
महाराष्ट्र विधान परिषद की पांच सीटों के लिए 27 मार्च को चुनाव होने हैं। महायुति गठबंधन के उम्मीदवारों की जीत तो तय है, लेकिन इस जीत के लिए उम्मीदवारी हासिल करना उम्मीदवारों के लिए बड़ी चुनौती है। महायुति के तीनों घटक दलों में से प्रत्येक में प्रत्येक सीट के लिए नामांकन के लिए कई दावेदार हैं।
भाजपा में 20 प्रबल दावेदार
महायुति गठबंधन की प्रमुख पार्टी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में तीन विधान परिषद सीटों के लिए 20 प्रबल दावेदार हैं। किन तीन उम्मीदवारों को टिकट मिलेगा, इसका फैसला महाराष्ट्र भाजपा नेताओं ने पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को सौंप दिया है।
विधान परिषद की 5 सीटें खाली हो गईं
2024 के पिछले विधानसभा चुनाव में भाजपा ने अपने विधान परिषद सदस्यों प्रवीण दटके, रमेश कराड और गोपीचंद पडलकर को मनोनीत किया था। इसी तरह उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की शिवसेना से अमशा पडवी और अजित पवार की राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) से राजेश विटेकर को भी मनोनीत किया गया था, जिनमें से सभी पांचों ने अपनी विधानसभा सीटें सफलतापूर्वक जीतीं। इस तरह विधान परिषद की 5 सीटें खाली हो गईं।
27 मार्च को मतदान
विधान परिषद की रिक्त सीटों के लिए 27 मार्च को मतदान होगा। संख्या बल के अनुसार भाजपा के 3, शिवसेना के 1 और एनसीपी के 1 उम्मीदवार उच्च सदन में जाने में सफल होंगे। इसके लिए नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि 17 मार्च तय की गई है। लेकिन कई लोगों की दिलचस्पी होने के कारण तीनों ही पार्टियां अभी तक अपने उम्मीदवारों की घोषणा नहीं कर पाई हैं।
27 maarch ko matadaan
अब वफादारों को मिल सकता है इनाम
पिछले कुछ सालों में महाराष्ट्र में हुए राजनीतिक घटनाक्रम के बाद हुए राजनीतिक गठबंधन और दल-बदल के कारण भाजपा के पुराने वफादार नेताओं को न्याय नहीं मिल पाया। आरोप लगते रहे हैं कि दूसरे दलों से आए नेताओं ने सौदेबाजी और धनबल के चलते पार्टी के वफादार नेताओं के अधिकारों को हड़प लिया। लेकिन इस बार विधान परिषद चुनाव में सालों से पार्टी की सेवा कर रहे नेताओं को इनाम मिल सकता है। इनमें दादाराव केचे, अमरनाथ राजुरकर और माधव भंडारी मुख्य दावेदार माने जा रहे हैं। लेकिन इन नेताओं के अलावा पार्टी प्रवक्ता केशव उपाध्याय, माधवी नाइक, संजय किणीकर, विजय चौधरी, संजय पांडे और कुछ अन्य उत्तर भारतीय नेता भी रेस में हैं।
मात्र 13 महीने का कार्यकाल
खास बात यह है कि भाजपा के जो तीन विधान परिषद सदस्य चुने जाएंगे, उन्हें मात्र 13 महीने का कार्यकाल मिलेगा। लेकिन देश-दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते भाजपा में उम्मीदवारी को लेकर अभी भी बड़ी मारामारी है।सूत्रों का दावा है कि भाजपा की महाराष्ट्र इकाई ने पार्टी हाईकमान को 20 लोगों की सूची भेजी है। इनमें से तीन नामों पर रविवार शाम तक मुहर लग जाएगी। क्योंकि सोमवार को नामांकन दाखिल होना है।