दिल्ली के सीएम केजरीवाल ने अपने कैबिनेट में बड़ा फेरबदल किया है। केजरीवाल कैबिनेट की इकलौती महिला मंत्री आतिशी को वितए राजस्व और योजना विभाग की जिम्मेदारी सौंपी गई है। पहले यह विभाग मंत्री कैलाश गहलोत के पास थे। दिल्ली सरकार के इस प्रस्ताव को एलजी वीके सक्सेना ने मंजूरी दे दी है और फ़ाइल दिल्ली सरकार के पास पहुंच भी गई है।
- एलजी ने दी कैबिनेट में फेरबदल को मंजूरी
- आतिशी को अब 11 विभागों की जिम्मेदारी
- सिसोदिया का वित्त विभाग भी आतिशी को सौंपा
- आबकारी घोटाले में फंसने के बाद सिसोदिया ने दिया था इस्तीफा
इस बदलाव के साथ ही आतिशी केजरीवाल कैबिनेट में नंबर 2 की पोजीशन में पहुंच चुकी है। पूर्व डिप्टी डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया और मंत्री सत्येन्द्र जैन के इस्तीफे के बाद मार्च में आतिशी के साथ सौरभ भारद्वाज को कैबिनेट में षामिल किया गया था। आतिशी के पास पहले से ही शिक्षा, बिजली, कला संस्कृति के साथ पर्यटन, भाषा, उच्च शिक्षा, प्रशिक्षण, तकनीकी शिक्षा और जनसंपर्क विभाग का प्रभार है। मंत्रिमंडल में हुए फेरबदल के बाद अब आतिशी के पास 12 विभागों की जिम्मेदारी आ गई है। आबकारी घोटाले से जुड़े मामले में पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी और उनके इस्तीफे के बाद सीएम केजरीवाल ने वित्त और योजना विभाग का प्रभार मंत्री कैलाश गहलोत को सौंप दिया था। बता दें सिसोदिया अब भी दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं।
1 जून को जनसंपर्क विभाग का प्रभार सौंपा
केजरीवाल सरकार के एक अधिकारी ने बताया मंत्रिमंडल के फेरबदल में आतिशी को वित्त के साथ योजना और राजस्व तीन विभागों का प्रभार मिलने के साथ उनके विभागों में वृद्धि हो गई है। उन्हें हाल ही में 1 जून को जनसंपर्क विभाग का प्रभार सौंपा गया था। यह विभाग भी पहले कैलाश गहलोत संभालते थे। वहीं कैबिनेट में फेरबदल से जुड़ी फाइल पर मंजूरी न दिए जाने को लेकर अरविंद केजरीवाल की ओर से एलजी सक्सेना पर आरोप लगाए थे। जिसमें कहा गया था कि इससे पहले वाले एलजी ऐसी फाइलों को नहीं रोकते थे। उन्हें तत्काल मंजूरी दी जाती थी। हालांकि एलजी कार्यालय का कहना है इन फाइलों को मंजूर कर लिया गया है।
सरकार का दावा , एलजी ने फाइल रोकी थी
दिल्ली में आम आदमी पार्टी सरकार और एलजी के बीच टशन किसी से छुपी नहीं है। कई मौकों पर सरकार और एलजी के बच मतभेद खुलकर सामने आ चुके हैं। इस बीच मंत्रिमंडल में फेरबदल से जुड़ी फाइल को लेकर सरकार का कहना है पिछले चार दिनों से उपराज्यपाल सक्सेना के पास हस्ताक्षर के लिए पड़ी रही। हालांकि उपराज्यपाल कार्यालय से जुडे़ सूत्र इस तरह के आरोपों को खारिज करते हुए बताते हैं कि फाइल पर बुधवार को हस्ताक्षर किये जाने के बाद उसे सरकार को भेज दिया गया था। पिछले कुछ महीनों में दिल्ली सरकार के मंत्रिमंडल में कई फेरबदल हो चुके हैं।