बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री अब सिर्फ कथावाचक नहीं रहे। उन्हे हिन्दुत्व की राजनीति से जोड़ा जाने लगा है। शायद यही कारण था कि जब बाबा ने बिहार में कथा करने का एलान किया तो राज्य की सियासत में हलचल पैदा हो गई। तमाम राजनैतिक दलों की चिंताए बढ़ गई। जिसके चलते उनकी कथा का विरोध हुआ और नेताओं ने बयान देना शुरु कर दिया। कथा के नाम पर हुई राजनीति पर सवाल उठने लगा,कि’बिहार में बाबा की इंट्री से किसे नफा और किसे नुकसान होगा?’
विपक्ष ने क्यों किया विरोध
बिहार में पंडित धीरेन्द्र शास्त्री की कथा का जमकर विरोध हुआ। इसका मूल कारण ये था कि बाबा हिन्दुत्व की बात करते हैं। ऐसे में भाजपा विरोधियों को लगा कि कहीं पंडितजी यहां भाजपा के समर्थन में माहौल न बना दें। चॅूकि बिहार में नीतीश कुमार और उनके सहयोगी दल राजद भाजपा के लिए ब्रेकर बनाने में लगे हुए हैं। ऐसे में कहीं लोकसभा चुनाव का गेम न बिगड़ जाए,इस डर के कारण बाबा के विरोध में कोई कसर नहीं छोड़ी गई। जिस मौके की तलाश में भाजपा थी,वही मौका तेज प्रताप ने विरोध करके दे दिया। फिर क्या था, केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे से लेकर तमाम भाजपा नेताओं ने कथा के समर्थन में मोर्चा खोल दिया।
मनोज तिवारी बाबा के सारथी बन गए
कथा का विरोध होते ही दिल्ली के भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने मोर्चा संभाला। उन्होंने बिना किसी देर के खुद बाबा की गाड़ी के सारथी बन गए। वह एयरपोर्ट से होटल तक बाबा को खुद गाड़ी ड्राइव करते ले गए। जब कथा शुरु हुई तो भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी, केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, केंद्रीय राज्य मंत्री अश्विनी चौबे, नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा, विधायक नीरज बबलू और पूर्व केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने खुद बाबा की आरती उतारी।
बाबा के लिए किसने क्या कहा
बिहार के वन एवं पर्यावरण मंत्री तेज प्रताप यादव ने बाबा पर हिंदू-मुसलमान मुस्लिम करने का आरोप लगाते हुए उन्हे देशद्रोही बता दिया। यादव ने उन्हे एयर पोर्ट पर रोकने की भी धमकी दे डाली। राज्य के सहकारिता मंत्री सुरेन्द्र यादव ने महिलाओं के भूत के नाम पर नचाने का आरोप लगाया। जबकि शिक्षा मंत्री डॉ चंद्रशेखर सिंह बाबा को गिरफ्तार करने की धमकी दी और कहा कि दरबार में गड़बड़ी हुई तो कार्रवाई होगी।
बाबा ने एक एक को दिया जवाब
पंडित धीरेन्द्र शास्त्री ने कथा का विरोध करने वाले नेताओं की एक एक बात का जवाब दिया। उन्होंने बिना नाम लिए जो कहा वो बहुत बड़ा संदेश था। बाबा ने कहा कि बाबा ने कहा कि कथा का विरोध करने वाले पागलों की भी जय हो। भौंकने वाले भी राम नाम कहेंगे। हिंदू मुस्लिम करने वाले बयान पर बाबा ने कहा कि हम हिंदू-मुस्लिम की बात नहीं करते, बल्कि हिंदू-हिंदू करते हैं। वह हिंदू को जगा रहे हैं।
बाबा ने विरोधियों का दिया झटका
पंडित धीरेन्द्र शास्त्री की कथा से किसे नफा नुकसान होगा इसका बिहार में आकलन होने लगा है। बाबा ने जो भी कहा वो भाजपा विरोधियों के लिए बड़ा झटका है। पं शास्त्री ने कहा कि बिहार की धरती राममयी है। यहां माता सीता का जन्म हुआ है। इस पावन धरती पर बदलाव की जरूरत है।बदलाव रामकाज है, रामकाज के लिए संगठित होना होगा। तभी रामराज स्थापित होगा। उन्होंने भरोसा दिलाते हुए कहा कि में इस रामराज में इस पावन धरती पर बार बार आना है और आता रहूंगा और आप सबको कथा सुनाता रहूंगा।इसके कहीं कोई व्यवधान नहीं आना चाहिए।